सूचनार्थ—अखिल भारतीय कायस्थ महासभा पंजी 5680 मैनपुरी के सभी पदाधिकारियों अवैध —कोर्ट में मामला सारंग गुट और सुबोध कांत सहाय गुट में— तीसरे किसी भी गुट का कोई मतलब नहीं —सूचना के अधिकार के तहत खुलासा

## कायस्थ डॉट न्यूज़ को मिली जानकारी के अनुसार —मैनपुरी आगरा से पंजीकृत संस्था अखिल भारतीय कायस्थ महासभा 5680 संस्था पूरी तरह ग़ैर क़ानूनी साबित हुई है इसके सभी गुट पूरी तरह ग़ैर क़ानूनी हैं / अखिल भारतीय कायस्थ महासभा पंजी 5680 मैनपुरी के श्री सुबोध कांत सहाय अब राष्ट्रीय अध्यक्ष नहीं रहे- इसके सभी पदाधिकारियों की वैधानिकता अवैध —वर्तमान में कोई भी कार्यकार्यरिणी लीगल नहीं है -इसके सभी गुट की वैधानिक व्यवस्था अवैध है / मतलब सभी प्रदेश और ज़िला कार्यकारिणी भी अवैध मानी जाएगी/

कायस्थ डॉट न्यूज़ को मिले दस्तावेज के अनुसार इसी संस्था के एक गुट के राष्ट्रीय अध्यक्ष सुबोध कांत सहाय कहलाते है /इसी संस्था के ही एक गुट चौधरी जितेंद्र नाथ अध्यक्ष कहलाते है और इसी संस्था में तीसरे गुट के अध्यक्ष के रूप में डॉक्टर अनूप श्रीवास्तव जी अपने को कहते है /


इसमें सबसे हादस्पद विषय यह भी है कि अधिकतर लोग इस मैनपुरी वाले संगठन में साधारण सदस्य भी नहीं है और इनके द्वारा दिखाये गये पंजीकृत कार्यालय 12,दरिवा मैनपुरी में आज तक ये लोग गये ही नहीं ना उनसे कोई मतलब है/
जबकि इस पंजीकृत कार्यालय जो एबीकेएम ५६८०मैनपुरी का है के संस्थापक श्री वृजेशबर प्रसाद जी का परिवार रहता है और जिन्होंने मैनपुरी के कई डिग्री और इंटर कॉलेज बनाये बाद में ब्रिजेशवर प्रसाद जी के द्वारा बनाये गये डिग्री और इंटर कॉलेज में सपाई लोगो का क़ब्ज़ा हो गया यह सर्वविदित है /

कायस्थ डॉट न्यूज़ को मिली जानकारी के अनुसार मैनपुरी चिट्स फंड डिप्टी रजिस्ट्रार ने सभी को अयोग्य माना है और वर्तमान के तीनों राष्ट्रीय अध्यक्ष अयोग्य दिखते है

नीचे सूचना के अधिकार के तहत मिली जानकारी में सब साफ़ है —-

देश के एकमात्र राष्ट्रीय स्वरूप वाले संगठन —”अखिल भारतीय कायस्थ महासभा ” पंजी 2150 नई दिल्ली के राष्ट्रीय संयोजक- मनीष श्रीवास्तव ने चिट्स फंड डिप्टी रजिस्ट्रार के आदेश को सही बताया और कहा कि अब कायस्थ समाज के सामने सपा और कांग्रेसी विचारधारा वाले अखिल भारतीय कायस्थ महासभा ५६८० मैनपुरी की सारी सच्चाई सामने है / ऊपर दिये हुए आदेश दिखाते हैं कि मैनपुरी पंजीकृत यह संस्था पूरी तरह अयोग्य और विवादास्पद हो चुकी है / ज्ञातव्य हो को पूर्व में देश के प्रधानमंत्री मोदी जी पर अभद्र टिप्पणी करने वाले कांग्रेसी नेता श्री सुबोध कांत सहायक जी अखिल भारतीय कायस्थ महासभा पंजी 5680 मैनपुरी के राष्ट्रीय अध्यक्ष के रूप और भाजपा नेता पूर्व राज़्यसभा सांसद श्री आर के सिन्हा जी इस संस्था के अंतर्राष्ट्रीय रूप से अपने को अध्यक्ष कहते थे / जबकि क्षेत्रीय रूप से पंजीकृत इस संगठन का कार्यक्षेत्र उत्तर प्रदेश ही था जो बाद में विवादास्पद तरीक़े से पूरे भारत में किया गया पिछले कुछ वर्षों में/
कायस्थ डॉट न्यूज़ को मिली जानकारी के अनुसार शायद सुबोध कांत सहाय जी की संस्था में विवाद और इस संस्था के क़ानूनी रूप से अवैध होने के कारण श्री आर के सिन्हा ने श्री सुबोध कांत सहाय से दूरी बनाई और अपनी ख़ुद की निजी ट्रस्ट या सोसायटी इसका पता नहीं लेकिन एक संस्था सोसल मीडिया पर राष्ट्रीय संगत पंगत बनाई / श्री सिन्हा पूर्व में कभी कोई संगठन ना बनाने को कहते आये है लेकिन शायद क्षेत्रीय रूप वाले सुबोध कांत सहाय जी के संस्था के पतन को देखते हुए उन्होंने शायद अपनी नई संस्था बनाई हो /


अखिल भारतीय कायस्थ महासभा पंजी 2150 नई दिल्ली के राष्ट्रीय संयोजक मनीष श्रीवास्तव ने खुले रूप से सभी गुट के सदस्यों को एक मंच पर आकर कायस्थ समाज की सेवा करने का आवाहन किया है /

कायस्थ समाज से अपील की मैनपुरी पंजीकरण संख्या 5680 वाले अखिल भारतीय कायस्थ महासभा के किसी भी गुट में जुड़ने से पहले ज़रूर इस पत्र को देखे /

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *